देश और दुनिया हर जगह से लोग भगवान श्री कृष्ण की नगरी मथुरा-वृंदावन दर्शन करने के लिए पहुंचते हैं। मथुरा-वृंदावन में हर रोज हजारों की संख्या में श्रद्धालु आते हैं। यहां पर भगवान श्रीकृष्ण की अनगिनत मंदिर हैं। हालांकि बहुत सारे लोग ऐसे भी होते हैं, जो बिना पहले किसी जानकारी के वृंदावन पहुंच जाते हैं। जिसकी वजह से उनके साथ भीड़ में फसने, होटल ना मिलने जैसी समस्याएं होने लगती हैं।
ऐसे में अगर आप भी वृंदावन आने का प्लान बना रहे हैं, तो आपको कुछ बातों का खास ख्याल रखना चाहिए। जिससे कि आपको यहां पर किसी तरह की समस्या न हो। ऐसे में आज हम आपको इस आर्टिकल के जरिए आपको कुछ टिप्स बताने जा रहे हैं, जिनको फॉलो करने से आपको और आपकी फैमिली को वृंदावन में किसी तरह की दिक्कत नहीं होगी।
बांके बिहारी मंदिर की आरती
अगर आप वृंदावन आ रहे हैं, तो बांके बिहारी मंदिर के टाइम टेबल के हिसाब से मंदिर में होने वाली आरती में शामिल हो सकते हैं और बांके बिहारी के दर्शन भी कर सकते हैं। बांके बिहारी मंदिर सुबह 08:45 से दोपहर 01:00 बजे तक खुला रहता है। इस मंदिर में रात को 08:25 पर आरती की जाती है।
वृंदावन के मंदिर
वृंदावन में ठाकुर बांके बिहारी मंदिर के अलावा अन्य मंदिरों की आरती का समय भी तय किया गया है। बता दें कि राधा बल्लभ मंदिर, राधा रमण मंदिर, प्रेम मंदिर, इस्कॉन मंदिर और निधिवन में आप भगवान श्रीकृष्ण की लीलाओं में शामिल होकर उनके दर्शन पा सकते हैं। श्रीकृष्ण के सभी मंदिरों में अलग-अलग समय पर झांकियां और लीलाओं के दर्शन किए जाते हैं। यह सभी मंदिर 5 किमी के दायरे में आते हैं। ऐसे में आप सड़क मार्ग से होते हुए इन सब मंदिर में दर्शन कर सकते हैं।
स्टे
अगर आप वृंदावन में रुकने का प्लान बनाकर आए हैं, तो यहां पर आपको कई ऐसी धर्मशालाएं मिल जाएंगी। जहां पर आप आराम से रुक सकते हैं। वहीं कुछ धर्मशालाओं में खाने और रहने का पैसा भी नहीं देना होता है। आप जो भी श्रद्धानुसार दान करना चाहें कर सकते हैं। वृंदावन में जगह-जगह भंडारे होते हैं, जहां पर आप बिना खर्च किए खा पी सकते हैं। हालांकि वृंदावन में काफी भीड़ रहती है, इसलिए अगर आप यहां बच्चों के साथ आ रहे हैं, तो उनकी जरूरत का हर सामान लेकर आएं।
न फैलाएं कूड़ा
अक्सर लोग वंदावन धाम धार्मिक भावनाओं के साथ आते हैं, लेकिन इस दौरान वह अंजाने में कई गलतियां भी कर बैठते हैं। बता दें कि जिस तरह से आप अपने घर में साफ-सफाई रखते हैं। ठीक उसी तरह यहां आने वाले हर व्यक्ति की यह जिम्मेदारी बनती है कि वह वृंदावन को साफ रखें। न सिर्फ वृंदावन बल्कि आप जिस भी धार्मिक स्थल जाएं, वहां पर कूड़ा न फैलाएं।
बृजवासियों की बुराई
भगवान श्रीकृष्ण की नगरी वृंदावन में अक्सर लोगों को मजाक करते हुए देखा सकता है। यहां आने के बाद बृजवासियों की बातों का बुरा नहीं मानना चाहिए और बृजवासी की बुराई नहीं करनी चाहिए। ऐसा करने से बांके बिहारी को बुरा लग सकता है।