सावन मास में कई प्रमुख व्रत-त्योहार पड़ते हैं। नाग पंचंमी भी सावन में पड़ने वाला एक खास त्योहार है। हिंदू पंचांग के अनुसार, सावन मास की शुक्ल पंचमी तिथि को नाग पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन भगवान शिव के साथ-साथ नाग देवता की पूजा की जाती है। इस साल नाग पंचमी 13 अगस्त (शुक्रवार) को मनाई जाएगी। यह त्योहार देशभर में बहुत ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। उत्तर प्रदेश और बिहार में नाग पंचमी पर मेलों का आयोजन किया जाता है। माना जाता है कि भगवान शिव को नाग अतिप्रिय है इसलिए श्रावण मास में भगवान शिव के साथ-साथ नाग देवता की पूजा करने से पुण्य फलों की प्राप्ति होती है। नाग देवता की पूजा करने से सभी पाप नष्ट होते हैं और धन लाभ होता है। आइए जानते हैं नाग पंचमी का शुभ मुहूर्त और पूजन विधि -
नाग पंचमी का शुभ मुहूर्त
पंचमी तिथि प्रारंभ - 12 अगस्त दोपहर 03 बजकर 24 मिनट से
पंचमी तिथि समाप्त - 13 अगस्त को दोपहर 1 बजकर 42 मिनट तक
पूजा के लिए शुभ मुहूर्त - 13 अगस्त को सुबह 5 बजकर 49 मिनट से 8 बजकर 28 मिनट तक रहेगा
नाग पंचमी की पूजन विधि
नाग पंचमी के दिन सुबह स्नान करके घर के दरवाजे पर मिट्टी या गोबर से नाग देवता का चित्र बनाएं।
शिव जी और नाग देवता की प्रतिमा पर दूध चढ़ाएं।
इसके बाद शिव जी के साथ-साथ नाग देवता को दूर्वा, कुशा, फूल, अछत, जल और दूध चढ़ाएं।
नाग देवता को सेवईं या खीर का भोग लगाएं। सांप की बांबी के पास दूध या खीर रख देना चाहिए।
इस दिन अष्टनागों के इस मंत्र का जाप करना चाहिए।