होम
कुंडली
टैरो
अंक ज्योतिष
पंचांग
धर्म
वास्तु
हस्तरेखा
राशिफल
वीडियो
हिन्दी न्यूज़
CLOSE

Dattatreya Jayanti 2024: 14 दिसंबर को मनाई जा रही दत्तात्रेय जयंती, जानिए पूजन विधि और महत्व

By Astro panchang | Dec 14, 2024

हिंदू धर्म में भगवान विष्णु, ब्रह्माजी और भगवान भोलेनाथ की पूजा का विशेष महत्व माना जाता है। इन्हें त्रिदेव भी कहा जाता है। भगवान दत्तात्रेय त्रिदेव के अंश हैं, जिनकी पूजा करने से व्यक्ति को तीनों देवों की पूजा के समान फल मिलता है। तो वहीं कुछ लोग भगवान दत्तात्रेय को गुरु का रूप भी मानते हैं। हर साल मार्गशीर्ष माह की पूर्णिमा तिथि को दत्तात्रेय जयंती मनाई जाती है। इस बार आज यानी की 14 दिसंबर 2024 को दत्तात्रेय जयंती मनाई जा रही है।

धार्मिक मान्यता है कि जो भी व्यक्ति दत्तात्रेय जयंती के दिन सच्चे मन और विधि-विधान से भगवान दत्तात्रेय की पूजा-अर्चना करते हैं, उनको सभी परेशानियों से छुटकारा मिल जाता है। बता दें कि मार्गशीर्ष माह की पूर्णिमा तिथि को भगवान दत्तात्रेय अवतरित हुए थे। तो आइए जानते हैं दत्तात्रेय जयंती पर पूजन का महूर्त, महत्व और पूजन विधि के बारे में...

दत्तात्रेय जयंती 2024
हिंदू पंचांग के मुताबिक इस साल 14 दिसंबर 2024, दिन शनिवार की शाम 04:58 मिनट से पूर्णिमा तिथि की शुरूआत हो रही है। वहीं अगले दिन यानी की 15 दिसंबर 2024 की दोपहर 02:31 मिनट पर इस तिथि की समाप्ति होगी। उदयातिथि के हिसाब से आज यानी की 14 दिसंबर को दत्तात्रेय जयंती मनाई जा रही है।

दत्तात्रेय जयंती का महत्व
बता दें कि मार्गशीर्ष माह में आने वाली पूर्णिमा तिथि बेहद खास है। पूर्णिमा तिथि का संबंध देवी-देवताओं से होता है। इसलिए इस दिन स्नान-दान करना शुभ माना जाता है। वहीं इस तिथि का संबंध चंद्र देव से भी है। मार्गशीर्ष पूर्णिमा का संबंध भगवान दत्तात्रेय से भी है। इस दिन भगवान दत्तात्रेय की पूजा-अर्चना करने से जातक के घर-परिवार में सुख-शांति और समृद्धि का वास होता है।

दत्तात्रेय जयंती पर भगवान दत्तात्रेय के साथ मां लक्ष्मी, भगवान विष्णु, भगवान शिव और चंद्र देव की पूजा करना शुभ माना जाता है। इस दिन के अलावा मार्गशीर्ष पूर्णिमा के दिन भगवान दत्तात्रेय की पूजा-अर्चना करनी चाहिए।
Copyright ©
Dwarikesh Informatics Limited. All Rights Reserved.